जाने क्यों रोज के खाने में आलू,टमाटर,शिमला मिर्च,बैगन,प्याज और लहसुन को नही खाना चाहिये।

👉आयुर्वेद में किसी भी पदार्थ के गुण केवल पोषक तत्व के आधार पर ही तय नहीं होते बल्कि उनके रस, गुण, गुण, विपाक और प्रभाव के अनुसार सामग्री का प्रभाव तय किया जाता है।

👉आयुर्वेद में द्रव्य या खाद्य सामग्री को दो श्रेणियों में वर्गीकृत किया गया है जो अहार द्रव्य और औषध द्रव्य।

1.आहार द्रव्य – जिसका सेवन दैनिक आधार पर किया जा सकता है जैसे दूध, घी, सब्जियां, दालें, चावल आदि।

2. औषध द्रव्य – असंतुलन को ठीक करने के लिए चिकित्सीय उद्देश्य के लिए कभी-कभी सेवन किया जाना चाहिए।

👉नाइटशेड सब्जियां जैसे आलू,टमाटर,बैगन और सभी रंग की शिमला मिर्च , प्याज और लहसुन इस श्रेणी में आते हैं।

👉हां शोधों के अनुसार ये सब्जियां कई स्वास्थ्य स्थितियों में उपयोगी होती हैं लेकिन ये दैनिक उपभोग के लिए उपयुक्त नहीं होती हैं।

👉नाइटशेड सब्जियां जहरीली होती हैं, इनमें एटोपिन, निकोटीन, सैलोनिन आदि जैसे न्यूरोटॉक्सिन होते हैं।
वे व्यसनी हैं
, वे अपनी विषाक्तता फैलाने के लिए शरीर में तेजी से फैलती  हैं।

👉वे व्यवायी (तेजी से फैलती हैं, शरीर के स्रोतासो को बिगड़ते हैं, विषाक्तता फैलाते हैं) और विकासी (तंत्रिकाओं को प्रभावित करते हैं, शरीर के स्रोतसो को फैला देते  हैं, जोड़ों को ढीला करते हैं, सुस्ती का कारण बनते हैं और ओजस को नष्ट करते हैं)

👉इन सब्जियों से सूजन, जोड़ों को नुकसान और जोड़ों में दर्द होता है।

👉वे हड्डी से कैल्शियम की अत्यधिक हानि और कोमल ऊतकों में कैल्शियम के अत्यधिक जमा होने का कारण बनते हैं।

👉इसी प्रकार लहसुन के भी बहुत स्वास्थ्य लाभ होते हैं लेकिन यह तामसिक है जो मन के लिए विषैला होता है इसलिए इसे आहर के रूप में नहीं बल्कि औषध द्रव्य के रूप में प्रयोग करना चाहिए, अर्थात इसका सेवन तभी करना चाहिए जब औषधीय खुराक में आवश्यकता हो।

👉प्याज गुणों में लहसुन के समान है।प्याज और लहसुन दोनों हमारे आंत में अनुकूल बैक्टीरिया को नुकसान पहुंचाते हैं जो प्रतिरक्षा और खनिजों के अवशोषण के लिए महत्वपूर्ण हैं।

👉यदि प्याज और लहसुन का सेवन प्रतिदिन आहर के रूप में किया जाए तो वे मन और व्यवहार को राजसिक और तामसिक गुणों से भर देते हैं जैसे अवसाद,सुस्ती, उदासी, ईर्ष्या, क्रोध, आक्रामकता, इंद्रियों की अति उत्तेजना, यौन इच्छा में वृद्धि,  एकाग्रता की कमी और अज्ञानता।

👉वे मन का मार्गदर्शन करने के लिए सत्व में बाधा डालते हैं।

👉वे रोग को बढ़ाते हैं, सूजन पैदा करते हैं,   रक्त परिसंचरण को धीमा करते हैं और  रोकते हैं।

🌷तो अगर आपको लगता है कि नाइटशेड सब्जियां, प्याज और लहसुन प्राकृतिक हैं और इनका सेवन किया जा सकता है, तो फिर से सोचें क्योंकि प्राकृतिक हर चीज भोजन के रूप में उपयुक्त नहीं हो सकती है।

Published by Dr. Amrita Sharma

I am an ayurvedic practitioner with experience of more than a decade, I have worked with best ayurvedic companies and now with the purpose of reaching out people to make them aware about ayurveda which is not just a system of treatment but a way of living to remain healthy

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